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बिहार में कपड़ा और चर्म उद्योग लगाने पर मिलेगा 10 करोड़ सब्सिडी, राज्य कैबिनेट का बड़ा फैसला

Bihar News: कैबिनेट की बैठक के बाद कैबिनेट विभाग के अपर मुख्य सचिव डॉ एस सिद्धार्थ ने बताया कि वर्तमान दौर में उद्योग अब चीन की जगह भारत की ओर अपना रुख कर रहे हैं. इसके मद्देनजर बिहार सरकार ने इस नयी नीति को मंजूरी दी है.

पटना. बिहार में अब टेक्सटाइल (कपड़ा) और लेदर (चर्म) उद्योग लगाना बड़ा आसान हो गया है. गुरुवार को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में राज्य कैबिनेट की बैठक में बिहार औद्योगिक निवेश प्रोत्साहन नीति (वस्त्र एवं चर्म) नीति 2022 को मंजूरी दी गयी. इसके तहत राज्य में कपड़ा व चर्म उद्योग लगाने पर सरकार 15% पूंजीगत अनुदान देगी, जो अधिकतम 10 करोड़ रुपये होगा. इसके अलावा सरकार प्रति कामगार वेतन मद में हर महीने 3000 से 5000 रुपये तक प्रोत्साहन राशि, बिजली बिल में छूट, निर्यात के लिए 30% भाड़ा व पेटेंट सब्सिडी देगी. इन सुविधाओं का लाभ लेने के लिए 30 जून, 2023 तक आवेदन करना होगा.

सालाना 10 लाख रुपये का अनुदान दिया जायेगा

कैबिनेट की बैठक के बाद कैबिनेट विभाग के अपर मुख्य सचिव डॉ एस सिद्धार्थ ने बताया कि वर्तमान दौर में उद्योग अब चीन की जगह भारत की ओर अपना रुख कर रहे हैं. इसके मद्देनजर बिहार सरकार ने इस नयी नीति को मंजूरी दी है. इसके तहत बिहार में टेक्सटाइल व लेदर उद्योग लगानेवाली इकाइयों को देश में सर्वाधिक लाभ मिलेगा. उन्होंने बताया कि 15% पूंजीगत अनुदान के अलावा अगर किसी यूनिट से निर्यात होता है, तो उसे कोलकाता, मुंबई जैसे कार्गो तक मालभाड़े में 30% की प्रतिपूर्ति या सालाना 10 लाख रुपये का अनुदान दिया जायेगा.

हर महीने प्रोत्साहन राशि मिलेगा

वहीं,हर महीने प्रति वर्कर वेतन मद में तीन से पांच हजार तक प्रोत्साहन राशि या इपीएफ जमा करने पर 300% तक वेतनमान की राशि दी जायेगी. इसके अलावा बिजली बिल में प्रति यूनिट दो रुपये की छूट दी जायेगी. पेटेंट सब्सिडी के रूप में भी प्रति पेटेंट सालाना 10 लाख रुपये का लाभ मिलेगा.इन उद्योगों को ये लाभ औद्योगिक नीति 2016 में दी जानेवाली छूटों के अलावा दिये जायेंगे.

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लगातार पांच साल तक लाभ

अपर मुख्य सचिव ने बताया कि इन छूटों का लाभ उठाने के लिए 30 जून, 2023 तक आवेदन करना होगा. एक साल के अंदर आवेदन करनेवाली इकाइयों को यह लाभ पांच साल तक लगातार मिलेगा. वैसी इकाइयां, जिन्होंने इस नीति की अधिसूचना की तिथि से पहले चरण-1 की मंजूरी ले ली है, उन्हें भी इस नीति के तहत लाभ मिलेगा. इसके पहले वर्ष 2016 की औद्योगिक नीति के तहत राज्य में उद्योग लगानेवालों को 20 करोड़ तक के ब्याज अनुदान का 10% लाभ मिलता है. साथ ही जीएसटी में 100% प्रतिपूर्ति की जाती है.

बेतिया में 1700 एकड़ में बनेगा टेक्सटाइल पार्क

अपर मुख्य सचिव डॉ एस सिद्धार्थ ने बताया कि बेतिया में 1700 एकड़ में टेक्सटाइल पार्क स्थापित करने का प्रस्ताव केंद्र सरकार को भेजा गया है. इसकी स्वीकृति मिलती है, तो वहां पर टेक्सटाइल पार्क बनाया जायेगा. इसके अलावा राज्य में बियाडा की जमीन पर भी टेक्सटाइल पार्क बनाया जायेगा. इसके अलावा भी कोई व्यक्ति अपना पार्क बनाना चाहता है, तो सरकार उसको भी राहत देगी.

बिहार कपड़ा व लेदर उत्पादन का बड़ा हब बनेगा : शाहनवाज

पटना . उद्योग मंत्री सैयद शाहनवाज हुसैन ने कहा कि टेक्सटाइल और लेदर पॉलिसी के रूप में बिहारवासियों को एक बड़ी सौगात मिली है. राज्य में टेक्सटाइल और लेदर उद्योग को बढ़ावा देने के लिए हमने देश की सबसे बेहतर पॉलिसी तैयार की है. इससे बिहार कपड़ा और लेदर उत्पादन का बड़ा हब बनेगा. उन्होंने इसके लिए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के प्रति आभार व्यक्त किया.

उद्योग को बूस्टर डोज

  • बिजली बिल में प्रति यूनिट दो रुपये की छूट दी जायेगी

  • हर माह प्रति वर्कर तीन से पांच हजार रुपये तक वेतन मद में प्रोत्साहन राशि

  • निर्यात होने पर कार्गो तक मालभाड़े में 30% की प्रतिपूर्ति या सालाना 10 लाख रुपये का अनुदान

  • सालाना प्रति पेटेंट 10 लाख रुपये का मिलेगा अनुदान

अन्य फैसले

  • एलएन मिश्रा इंस्टीट्यूट में फैकल्टी के 51 और नॉन फैकल्टी के 22 पदों की स्वीकृति

  • भूमि एवं जल संरक्षण योजना के कार्यान्वयन के लिए 45.98 करोड़ रुपये

  • किशनगंज के तत्कालीन वरीय उपसमाहर्ता ब्रज किशोर सदानंद को बर्खास्त करने की स्वीकृति

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