Pidiya Vrat 2023: बिहार के सीवान जिले में लड़कियों ने पीड़िया व्रत रखा है. दरअसल, बहनों ने अपने भाई के लिए यह व्रत रखा है. भाई- बहन के प्रेम का पर्व पीड़िया पर्व गुरूवार को सीवान में धूमधाम से मनाया जा रहा है. इसको लेकर गुरुवार सुबह भाइयों के दीर्घायु होने की कामना के साथ बहनों ने नदी- पोखर किनारे जाकर पीड़िया प्रवाहित कर भगवान भास्कर से कामना की. पीड़िया पर्व पूरे सीवान जिला में धूमधाम से मनाया गया. इस अवसर पर बहनों ने रातभर जागकर पीड़िया का पारंपरिक गीत गाई. कथाएं भी सुनाई गई. बहनों ने अपने भाई की दीर्घायु की कामना करते हुए व्रत भी रखा और बुधवार की शाम नए चावल व गुड़ की खीर बना कर प्रसाद ग्रहण किया. रात भर पौराणिक भक्ति गीत गाई. सुबह तीन-चार बजे से ही डीजे आदि के धुन पर थिरकते हुए व्रती पोखर के किनारे पहुंची और पीड़िया प्रवाहित कर भगवान भास्कर की आराधना की.
यहां के पंडित आशीष गिरी उर्फ भृगुनाथ बाबा ने इस पर्व को लेकर कहा कि पौराणिक कथाओं में पीड़िया पर्व का महत्व प्राचीन काल से है. पर्व को ज्यादातर लड़कियां ही करती हैं. वह इस व्रत के माध्यम से अपने भाइयों की खुशहाली, लंबी उम्र, सुख समृद्धि की कामना करतीं हैं. इसकी शुरुआत गोवर्धन पूजा के दिन से ही हो जाती है. रघुनाथपुर, गुठनी, दरौली और सिसवन में सरयू नदी के किनारे भारी संख्या में व्रतियों की भीड़ उमड़ी पड़ी. प्रशासन की तरफ से सुरक्षा की व्यवस्था की गई.
Also Read: बिहार: सरकारी स्कूलों के बाद निजी कॉलेजों के शिक्षकों के लिए आदेश, पांच क्लास लेने के साथ देनी होगी ये जानकारी
इस त्योहार को खास बनाने के लिए बहनों ने पहले से ही तैयारी की थी. इसके बाद आज इस त्योहार को इन्होंने मनाया है. इस व्रत के माध्यम से बहने अपने भाइयों की लंबी उम्र की कामना करती है. इस त्योहार में पीड़ियों के गीत गाए जाते है. रातभर जागकर गीत के माध्यम से पूजा की जाती है. कहा जाता है कि गोवर्धन पूजा के दिन से ही इस व्रत की शुरूआत हो जाती है. गोवर्धन पूजा के गोबर से ही घर के दीवार पर छोटे- छोटे पिंड के आकार में पीड़िया लगाया जाता है.
सीवान से अरविंद कुमार सिंह की रिपोर्ट.