13.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

बिहार: 6 करोड़ रुपये में किडनी बेचने के लालच में युवक ने गंवाए 80 लाख, जानें अपराधियों ने कैसे बनाया शिकार

पूर्णिया में साइबर अपराध से जुड़ा एक सनसनीखेज मामला सामने आया है. जहां साइबर अपराधियों ने किडनी बेचने के लिए छह करोड़ रुपये का झांसा देकर युवक की जेब से कई बार में कर के 80 लाख रुपये उड़ गए. युवक ने साइबर अपराधियों को देने के लिए कर्ज भी लिया था.

पूर्णिया शहर के शिवपुरी मुहल्ले में सोमवार को एकसाथ मां- बेटा द्वारा सुसाइड किए जाने के मामले में सनसनीखेज खुलासा हुआ है. यह मामला साइबर अपराध से जुड़ा हुआ है. किडनी खरीद करने वाली एक विदेशी कंपनी ने किडनी डोनेट करने के नाम पर छह करोड़ रुपये कमाने का झांसा देकर बेटे पारिजात से 80 लाख रुपये की ठगी कर ली. पारिजात ने कंपनी के खाते में रकम का भुगतान दो से तीन महीने में किया. साइबर थाने के डीएसपी कौशल किशोर कमल ने इसका खुलासा करते हुए बताया कि नाइजीरियन कंपनी के किडनी सेंटर होम डॉट ऑनलाइन की वेबसाइट द्वारा छह करोड़ का सपना दिखाकर पारिजात मित्रा से कई बार में 80 लाख रुपये उड़ा लिये.

शॉर्टकट रास्ते से दिखाया करोड़पति बनने का सपना

दरअसल, पारिजात शॉर्टकट रास्ते से करोड़पति बनने का सपना देख रहा था. इसी क्रम में वो एक वेबसाइट के माध्यम से नाइजीरिया में कार्यरत एक फ्रॉड वेबसाइट के संपर्क में आया, जिसमें उसे कहा गया कि एक किडनी बेचने पर उसे छह करोड़ रुपये दिये जायेंगे. एक किडनी के शरीर में नहीं रहने पर परेशानी नहीं होती है और अच्छी जिंदगी जी जा सकती है. जब पारिजात किडनी बेचने के लिए तैयार हो गया, तो कई प्रक्रियाओं का हवाला देकर उससे बारी-बारी से रुपये की मांग की जाने लगी. जब अत्यधिक रकम का भुगतान हो चुका तब फ्रॉड कंपनी द्वारा यह कह कर और रकम ली गयी कि इस बार अंतिम ट्रांजेक्शन होगा. इसके लिए पारिजात ने कई लोगों से कर्ज ले लिया.

मां- बेटे की मौत के मामले में मुख्य किरदार साइबर अपराधी

डीएसपी ने बताया कि मां-बेटे की मौत के मामले में मुख्य किरदार साइबर अपराधी है. कर्जदारों का दबाव सेकेंडरी है. उन्होंने बताया कि पारिजात ने कितना कर्ज लिया और किन-किन लोगों से लिया, कौन दबाव डाल रहा था, यह सब उसके बरामद मोबाइल से पता चलेगा. साइबर फ्रॉड होने के बाद जब कोई चारा नहीं बचा तो उसने अपने मोबाइल में सब कुछ छोड़कर आत्महत्या कर ली. उन्होंने बताया कि पारिजात द्वारा बैंक खाते में किए गए भुगतान का डिटेल निकाला गया है.

किस तरह शिकार बनाता है साइबर अपराधी

डीएसपी ने बताया कि नाइजीरियाई गिरोह के साइबर अपराधी इस तरह की वेबसाइट बनाकर फ्रॉड करने का काम कर रहे हैं. यह लोगों के फेसबुक को खंगालता है और उसके प्रोफाइल को देखकर टारगेट करता है. उसे ऑनलाइन चैट करके पहले उसे करियर के माध्यम से गिफ्ट भेजता है. गिफ्ट की डिलीवरी के दौरान उसकी सभी जानकारी प्राप्त कर लेता है. पारिजात को किडनी बचने के लिए छह करोड़ का प्रस्ताव देकर उससे बारी बारी से 80 लाख रुपये की ठगी कर ली.

Also Read: आर्थिक सर्वेक्षण : बिहार में एक तिहाई से अधिक परिवार की मासिक आय 6000 से भी कम, जानें किस वर्ग की कितनी कमाई

इस गिरोह में एक महिला डॉक्टर भी शामिल

डीएसपी ने बताया कि पारिजात को किडनी सेंटर होम डॉट ऑनलाइन द्वारा भारत के एक बड़े अस्पताल की महिला चिकित्सक से बात करायी जा रही थी. उन्होंने यह भी बताया कि पारिजात के मोबाइल के कॉल डिटेल्स से यह पता चला है कि वह स्मैक का भी सेवन करता था.

सुसाइड मामले की जांच साइबर पुलिस करेगी        

इस सुसाइड मामले की जांच अब साइबर थाना पुलिस करेगी. मृतक पारिजात के चाचा आतिश मित्रा के आवेदन पर साइबर थाना में मां-बेटे के आत्महत्या मामले की प्राथमिक की दर्ज कर ली गयी है. कांड संख्या 46/23 के तहत दर्ज प्राथमिकी के में धारा 306, 419, 420, 406, आईपीसी 66 (सी), 66(डी),आईटी एक्ट लगाया गया है. जानकारी देते हुए साइबर थाना के पुलिस इंस्पेक्टर रंजीत कुमार महतो ने बताया कि आत्महत्या के लिए प्रेरित करने के मामले में केस दर्ज किया गया है.

Also Read: बिहार में 95.5 प्रतिशत लोगों के पास कोई गाड़ी नहीं, महज 0.44 फीसदी के पास चार पहिया वाहन

सोमवार को घर में मिली थी लाश

बता दें कि सोमवार को मां स्निग्धा मित्रा (58) व उसके पुत्र पारिजात मित्रा उर्फ आशू (26) ने एक साथ जहर खाकर आत्महत्या कर ली थी. उनके कमरे से दो सुसाइड नोट भी बरामद किया गया था जिसमें में मां-बेटों ने स्पष्ट रूप से लिखा कि अत्यधिक कर्ज में डूबने की वजह से उन दोनों ने आत्महत्या की.

स्टांप बेचकर घर चलाती थी स्निग्धा

पति अशोक मित्रा की मौत के बाद उनकी पत्नी स्निग्धा मित्रा अपने घर से ही स्टांप बेचकर अपने परिवार की जीविका चलाती थी. मृतका के देवर आतिश मित्रा ने बताया कि सोमवार की सुबह जब वे अपने घर में चाय पी रहे थे तभी उसके भतीजे के बचाने-बचाने की आवाज आयी. दौड़ कर पहुंचे तो उनकी भाभी जमीन पर बदहवाश पड़ी थी और भतीजा पारिजात तड़प रहा था. थोड़ी देर बाद वह बाथरूम गया जहां बेहोश होकर गिर पड़ा. आनन-फानन में उन दोनों को जीएमसीएच लाया गया. डॉक्टरों ने भतीजा परिजात को मृत घोषित कर दिया, जबकि भाभी की भी थोड़ी देर बाद मौत हो गयी. स्निग्धा को एक पुत्र व एक विवाहित बेटी है, जो अपने पति के साथ पश्चिम बंगाल के कूच बिहार में रहती है.

Also Read: आरा महिला कॉलेज की छात्राओं का फूटा गुस्सा, कॉलेज परिसर बना रणक्षेत्र, प्रिंसिपल की गाड़ी पर भी पथराव

20 साल पूर्व हुई थी पति की हत्या

करीब 20 साल पूर्व अपराधियों ने स्निग्धा के पति अशोक मित्रा की गोली मार कर हत्या कर दी थी. तब यह घटना काफी सुर्खियों में रही थी. अशोक मित्रा बिहार सरकार के पूर्व शिक्षा मंत्री लोकेशनाथ झा के आप्त सचिव रह चुके थे. इसके बाद वे यहां सामाजिक कार्यकर्ता के रूप में काफी सक्रिय थे. जिला प्रशासन ने उनके सामाजिक कार्यों को देखकर उन्हें सम्मानित भी किया था. उनकी हत्या के पीछे जमीन ब्रोकर और स्टांप में हेराफेरी में सक्रिय गिरोह की बात सामने आयी थी. अशोक मित्रा सामाजिक कार्यों के साथ-साथ स्टांप बेचकर अपनी जीविका चलाते थे. उनकी मौत के बाद उनकी पत्नी यह काम करती थी.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें