करगहर. 20 पंचायत वाले करगहर प्रखंड में अधिकतर विभाग अधिकारी और कर्मी विहीन हैं. अधिकारियों के अभाव में अधिकतर विभाग प्रभार में चल रहे हैं. इसके कारण क्षेत्र का विकास कार्य प्रभावित हो रहा है. वहीं, आम जनता का भी काम समय पर नहीं हो पा रहा है. जानकारी के मुताबिक, लंबे समय से प्रखंड कृषि पदाधिकारी (बीएओ) का पद रिक्त है. इसके चलते प्रखंड कृषि कार्यालय कृषि समन्वयक और किसान सलाहकार की बदौलत संचालित हो रहा है, जबकि करगहर प्रखंड को कृषि के क्षेत्र में रोहतास का कटोरा माना जाता है. वहीं, प्रखंड में कुल 200 सौ विद्यालय हैं. लेकिन यहां बीइओ की पदस्थापन नहीं होने के चलते इन विद्यालयों में शैक्षणिक कार्यों की देखरेख और गतिविधियों पर बीआरसी में कार्यरत बीआरपी और कंप्यूटर ऑपरेटर द्वारा किया जाता है, जो शिक्षा के क्षेत्र में सरकार की दावे को खोखला साबित करता है.
बीपीआरओ का प्रभार बीडीओ को : सरकार द्वारा पंचायत में संचालित योजनाओं कोे क्रियान्वयन कराने के लिए बीपीआरओ का पद सृजित किया गया है. लेकिन प्रखंड में गत एक साल से बीपीआरओ का पदस्थापन नही होने के चलते एक वर्ष से बीपीआरओ का प्रभार बीडीओ के जिम्मे है. इससे पंचायतों में विकास कार्य व्यापक स्तर पर प्रभावित है. वहीं, प्रखंड में गत कई वर्षो से श्रम परिवर्तन पदाधिकारी का पदस्थापन नही है. इससे यह पद भी प्रभार में चल रहा है. इसके चलते मनरेगा में कार्यरत 20 हजार जाॅब कार्डधारियों में से अधिकतर का अब तक श्रम कार्ड नही बन पाया है. इधर, प्रखंड में वर्षों जेएसएस का पदस्थापन नही है. इससे यह भी प्रभार में चल रहा है. इसके चलते जन्म और मृत्यु प्रमाणपत्र बनवाने के साथ इस विभाग का कोई भी काम नही हो पाता है.करगहर में बीएओ व बीइओ सहित कई पद प्रभार में, विकास ठप
20 पंचायत वाले करगहर प्रखंड में अधिकतर विभाग अधिकारी और कर्मी विहीन हैं. अधिकारियों के अभाव में अधिकतर विभाग प्रभार में चल रहे हैं. इसके कारण क्षेत्र का विकास कार्य प्रभावित हो रहा है.
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