Arvind Kejriwal Reservation Card in Delhi: आम आदमी पार्टी (आप) के प्रमुख अरविंद केजरीवाल ने दिल्ली विधानसभा चुनाव से पहले एक बड़ा राजनीतिक कदम उठाते हुए आरक्षण का मुद्दा उठाया है. उन्होंने जाट समुदाय को ध्यान में रखते हुए आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृहमंत्री अमित शाह ने दिल्ली के जाटों से चार बार ओबीसी लिस्ट में शामिल करने का वादा किया था, लेकिन इसे अब तक पूरा नहीं किया गया. केजरीवाल ने इस मुद्दे पर प्रधानमंत्री को एक पत्र भी भेजा है, जिसमें उन्होंने दिल्ली के जाटों के साथ-साथ 5 अन्य जातियों को भी केंद्र की ओबीसी लिस्ट में शामिल करने की मांग की है.
अरविंद केजरीवाल ने गुरुवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि दिल्ली में केंद्र सरकार की संस्थाओं में राजस्थान के जाटों को ओबीसी आरक्षण का लाभ मिल रहा है, लेकिन दिल्ली के जाटों को यह लाभ नहीं मिल पा रहा है. उन्होंने कहा कि अगर उनकी सरकार बनती है, तो वह जाटों के आरक्षण के लिए पूरी ताकत से संघर्ष करेंगे. केजरीवाल ने जाट समुदाय के अलावा रावत, रोनियार, राय तंवर, चारण और ओड जातियों का भी जिक्र किया, जिनको दिल्ली सरकार ने ओबीसी दर्जा दिया हुआ है, लेकिन केंद्र सरकार इन जातियों को दिल्ली में अपनी संस्थाओं में ओबीसी आरक्षण का लाभ नहीं दे रही है.
इसे भी पढ़ें: कितना मजबूत है भारत का पासपोर्ट? जानें टॉप 5 देशों के नाम
अरविंद केजरीवाल ने पीएम मोदी को लिखे अपने पत्र में कहा कि केंद्र सरकार की नीतियों में कई विसंगतियां हैं, जिनकी ओर उनका ध्यान आकर्षित करना चाहते हैं. उन्होंने बताया कि राजस्थान से आने वाले जाट समाज के युवाओं को दिल्ली यूनिवर्सिटी में ओबीसी आरक्षण का लाभ मिल रहा है, जबकि दिल्ली के जाटों को यह सुविधा नहीं मिल पा रही है. केजरीवाल ने इसे दिल्ली के जाट समाज के साथ धोखा बताते हुए कहा कि केंद्र सरकार लगातार पिछले 10 सालों से इस समाज के साथ अन्याय कर रही है.
इसे भी पढ़ें: गूगल मैप की गलती से असम पुलिस नगालैंड पहुंची, जानें फिर क्या हुआ?
इसके अलावा, केजरीवाल ने केंद्र सरकार की नीति को लेकर भी सवाल उठाए. उन्होंने कहा कि दिल्ली यूनिवर्सिटी, एनडीएमसी, डीडीए, एम्स, सफदरजंग और राम मनोहर लोहिया जैसे संस्थानों में दिल्ली के ओबीसी समाज के युवाओं को नौकरी के मौके नहीं मिल पा रहे हैं, क्योंकि केंद्र सरकार की नीतियां इनके खिलाफ हैं. केजरीवाल ने केंद्र सरकार से मांग की कि वह दिल्ली के ओबीसी समाज के युवाओं के साथ हो रहे इस पक्षपाती रवैये को खत्म करें और इन जातियों को केंद्र सरकार के संस्थानों में ओबीसी आरक्षण का लाभ दें.
अरविंद केजरीवाल ने यह भी कहा कि सिर्फ जाट समाज ही नहीं, बल्कि रावत, रोनियार, राय तंवर, चारण और ओड जातियों को भी दिल्ली सरकार ने ओबीसी दर्जा दिया है, लेकिन केंद्र सरकार इन जातियों को भी दिल्ली में अपने संस्थानों में ओबीसी आरक्षण का लाभ नहीं दे रही है. इसके लिए उन्होंने केंद्र सरकार से तत्काल कदम उठाने की अपील की है.
इसे भी पढ़ें: शीत लहर के कारण स्कूलों बंद, देखें लिस्ट, फिर कब से खुलेंगे स्कूल