जादूगोड़ा. जादूगोड़ा का एकमात्र रेलवे स्टेशन राखा माइंस है. रेलवे ने इसे चमकाने में कोई भी कसर नहीं छोड़ा है. मगर इस स्टेशन पर एक्सप्रेस ट्रेनों का ठहराव नहीं होता है. इससे स्थानीय लोगों में नाराजगी है. संयुक्त संघर्ष समिति उत्कल एक्सप्रेस के ठहराव के लिए 1990 से पत्राचार कर रही है, पर सफलता नहीं मिली है. समिति के सचिव अनिल अग्रवाल ने बताया कि तत्कालीन सांसद शैलेंद्र महतो से भी अनुशंसा की गयी थी. पहल नहीं होने से सांसद विद्युत वरण महतो से गुहार लगायी. पर अभी तक सफलता नहीं मिली है. कोरोना काल में कुर्ला एक्सप्रेस का ठहराव राखा माइंस स्टेशन में बंद कर दिया गया, जो अभी तक चालू नहीं किया गया है. इससे लोगों को लंबी दूरी की ट्रेन पकड़ने के लिए टाटानगर जाना पड़ता है.
कोकदा स्टेशन तक सड़क जर्जर
राखा माइंस रेल फाटक से कोकदा फाटक तक की सड़क काफी जर्जर है. ग्रामीणों द्वारा कई बार सांसद से गुहार लगायी गयी, पर अभी तक यह सड़क नहीं बनी. इससे 10 हजार से अधिक लोग प्रभावित हो रहे हैं. बरसात के दिनों में लोगों को घरों से निकलना मुश्किल हो जाता है. जादूगोड़ा के लिपीघुटु निवासी विजय भगत ने बताया कि उत्कल एक्सप्रेस के ठहराव के लिए हस्ताक्षर अभियान भी चलाया गया. पर 10 साल से अभी तक सफल नहीं हो पाये हैं. ग्रामीणों को मेडिकल सुविधा के लिए दूसरा राज्य जाना पड़ रहा है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है