महागामा. प्रखंड क्षेत्र के लहठी गांव स्थित काली मंदिर में 200 वर्षों से पूजा होते रही है. इस संबंध में पूजा कमेटी के विकास यादव ने बताया कि दीपावली की मध्य रात्रि में मां काली की प्रतिमा मंदिर में स्थापित कर विधिपूर्वक पूजा-अर्चना की जाती है. पूजा के दूसरे दिन मन्नत पूरा होने पर श्रद्धालुओं द्वारा बकरे की बली मंदिर प्रांगण में दिया जाता है. इस दौरान सभी ग्रामीणों के घर से मां काली को प्रसाद चढ़ाया जाता है. मंदिर प्रांगण में बच्चों का मुंडन संस्कार का कार्यक्रम भी आयोजित किया जासेगा. काली पूजा के दौरान पूजा अर्चना करने को लेकर मंदिर में लहठी सहित आसपास के दर्जनों गांवों के श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ती है. विसर्जन के पूर्व पूरे गांव की परिक्रमा करने के बाद धूमधाम से मां काली की प्रतिमा का विसर्जन किया जाता है. इधर, काली पूजा को लेकर महागामा के बसुवा चौक, ऊर्जानगर, ज्ञानचक, छोटी सरभंगा, खदहरामाल, पथरकानी सहित विभिन्न काली मंदिरों में पूजा की तैयारी पूरी हो गयी है. जहां मूर्तिकार प्रतिमा को अंतिम रूप देने में जुटे है. छोटी सरभंगा गांव में काली पूजा पर दो दिवसीय मेला का आयोजन किया जाएगा और दो दिनों तक भक्ति जागरण कार्यक्रम का आयोजन किया जाएगा. काली पूजा को लेकर मंदिर की आकर्षक रूप से सजावट किया जा रहा है.
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