झाविमो से भाजपा व कांग्रेस में शामिल होनेवाले तीन विधायकों को विधानसभा ने अपना पक्ष रखने को कहा है़. विधानसभा चुनाव में झाविमो के चुनाव चिह्न से जीतनेवाले बाबूलाल मरांडी, प्रदीप यादव और बंधु तिर्की को विधानसभा की ओर से नोटिस दिया गया है़ विधानसभा ने विधायकों से कहा है कि यह दलबदल का मामला बनता है, इस पर अपना पक्ष रखे़ं.
विधानसभा ने 17 सितंबर तक विधायकों को अपना पक्ष रखने को कहा है़ बाबूलाल फिलहाल भाजपा विधायक दल के नेता हैं, वहीं प्रदीप यादव व बंधु तिर्की कांग्रेस में शामिल हो गये हैं. भाजपा ने स्पीकर के समक्ष दावा किया था कि पूरी पार्टी का विलय भाजपा में हो गया है़. इस नोटिस से तय हो गया है कि बाबूलाल मरांडी को प्रतिपक्ष के नेता की मान्यता मिलने में अभी देरी है. स्पीकर ने पूरे मामले को दलबदल की परिधि में माना है, ऐसे में वह इस मामले में सभी पक्षों की बात सुनेंगे़. यह प्रक्रिया लंबी चल सकती है.
महाधिवक्ता से मांगी थी रायस्पीकर रवींद्रनाथ महतो को भाजपा की ओर से सूचित किया गया था कि बाबूलाल मरांडी भाजपा विधायक दल के नेता चुने गये थे़. वहीं प्रदीप यादव व बंधु तिर्की ने भी सूचित किया था कि वे कांग्रेस में शामिल हो गये़. स्पीकर ने इन आवेदनों पर महाधिवक्ता से राय से मांगी थी़. स्पीकर को महाधिवक्ता की राय का इंतजार था़. चुनाव आयोग ने प्रदीप व बंधु को बताया है निर्दलीय पिछले राज्य सभा चुनाव में विधानसभा के निर्वाची पदाधिकारी को पत्र भेजा गया था.
इस पत्र में चुनाव आयोग ने बाबूलाल मरांडी के भाजपा में विलय को वैध बताया था़. श्री मरांडी को भाजपा का वोटर बताया था़. वहीं कांग्रेस में शामिल होनेवाले प्रदीप यादव व बंधु तिर्की को निर्दलीय विधायक के रूप में मान्यता दी थी़. विधानसभा की ओर से इसी अनुरूप वोटर लिस्ट तैयार किया गया था.
posted by : sameer oraon