तिरुवनंतपुरम : कोरोना वायरस संकट से निपटने के लिए कोई अतिरिक्त पैकेज नहीं घोषित करने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की आलोचना करते हुए केरल के वित्त मंत्री थॉमस इसाक ने मंगलवार को कहा कि राज्यों को प्रशंसा नहीं बल्कि सहायता चाहिए जिससे वे मुश्किल स्थिति पर काबू पा सकें .
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उन्होंने यहां संवाददाताओं से कहा कि बैंक मौजूदा संकट के समय राज्यों से भारी ब्याज वसूल कर रहे हैं और राज्यों को केंद्र से वित्तीय सहायता की उम्मीद थी, न कि सिर्फ प्रशंसा की. प्रधानमंत्री ने राष्ट्र के नाम अपने संबोधन में महामारी से प्रभावी तरीके से निपटने के लिए राज्यों की प्रशंसा की थी.
इसाक ने कहा, ‘‘मुझे लगता है कि राज्यों को केवल प्रशंसा की नहीं बल्कि वित्तीय सहायता की आवश्यकता है. जब हम ऋण के लिए बैंकों से संपर्क करते हैं, तो ब्याज दर नौ प्रतिशत होती है.” उन्होंने कहा कि अधिकतर राज्यों ने उधारी 500- 1000 करोड़ रुपये तक सीमित रखी है और वेतन में कटौती या अन्य विकास गतिविधियों को रोकना शुरू कर दिया है.
इसाक ने कहा कि लॉकडाउन की अवधि बढ़ाने से बीमारी के प्रसार पर नियंत्रण लग सकेगा. उन्होंने केंद्र से गहन परीक्षण कराए जाने का अनुरोध किया.केरल देश का पहला राज्य है जहां कोरोना वायरस ने दस्तक दी थी.
केरल में मरीजों की संख्या बढ़कर 378 हो गयी थी लेकिन राज्य अब कोरोना पर काबू पाने लगा है. पिछले कुछ दिनों में राज्य ने कोरोना के मरीजों की संख्या पर लगाम लगाया है. केरल के कासरगोड जिले में, जहां राज्य के कोरोनोवायरस मामलों में से 44 प्रतिशत मामले हैं. खुशी की बात यह है कि यहां रिकवरी की दर राष्ट्रीय औसत से तीन गुना अधिक है.
गौरतलब है कि आज केरल में नया साल मनाया जा रहा है. विशु पर्व केरल का हार्वेस्ट फेस्टिवल है. केरल का यह प्राचीनतम पर्वों में से एक है. मलयालम कैलेंडर के अनुसार, यह पर्व केरल में नववर्ष के रूप में मनाया जाता है. इसी दिन से सौर नव वर्ष शुरु होता है. मलयालम पंचांग की माने तो इस दिन सूर्य मेष राशि में प्रवेश करता है.
विशु पर्व भगवान कृष्ण को समर्पित है. मान्यता है की भगवान कृष्ण ने नरकासुर नामक राक्षस का वध इसी दिन किया था. आज के दिन लोग जल्दी उठकर लोग स्नान ध्यान करते हैं. भगवान विष्णु के दर्शन करते हैं.