भोपाल : मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा सभी मुख्यमंत्रियों के साथ की गई वीडियो कान्फ्रेंसिंग में सुझाव दिया कि देश में कोरोना वायरस संक्रमण के प्रसार को प्रभावी ढंग से नियंत्रित करने और अर्थव्यवस्था को दोबारा खड़े करने के उद्देश्य से चौथे चरण के लॉकडाउन का स्वरूप मिला-जुला होना चाहिए. यह जानकारी मध्यप्रदेश विभाग के एक अधिकारी ने दी है. मुख्यमंत्री ने कहा कि निषिद्ध क्षेत्र में पूरी सख्ती बरती जाये, वहीं अन्य क्षेत्रों में आर्थिक गतिविधियों को सुचारू करने के उद्देश्य से छूट दी जाएं.
चौहान ने कहा कि रात्रिकालीन कर्फ्यू शाम 7 बजे से सुबह 7 बजे तक यथावत रहे लेकिन धीरे-धीरे सार्वजनिक परिवहन नियंत्रित रूप से प्रारंभ किए जाए. सभी प्रकार के उत्सव प्रतिबंधित रहें. उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री की दूरदृष्टि, संकल्पशक्ति तथा उनके कुशल नेतृत्व में हम कोरोना से निपटने में सक्षम रहेंगे. प्रधानमंत्री ने संघीय ढांचे के अनुरूप निरंतर राज्यों के साथ संवाद एवं समन्वय करके देश में कोरोना के विरूद्ध इतनी सशक्त रणनीति लागू की है, जिससे हमने कोरोना पर प्रभावी नियंत्रण पाया है.
गृह विभाग के दिशा-निर्देश राज्यों के लिए अत्यंत स्पष्ट और उपयोगी होते हैं. चौहान ने कहा कि कोरोना संकट के इस दौर में राज्यों को केंद्र का सहयोग मिल रहा है. प्रवासी मजदूरों के लिये चलायी गयी ट्रेन बेहद सहायक सिद्ध हुई हैं. मनरेगा में केंद्र द्वारा भिजवायी गयी 661 करोड़ रुपये की राशि तथा राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) की 910 करोड़ रुपये की राशि इस संकट के समय काफी सहायक सिद्ध हुई. मुख्यमंत्री ने कहा कि मध्यप्रदेश में 16 लाख मजदूरों को मनरेगा में कार्य दिया गया है. प्रदेश में दिशा-निर्देशों के अनुसार विभिन्न प्रकार की आर्थिक गतिविधियां प्रारंभ की गयी हैं.