Black Fungus कोरोना वायरस से संक्रमित तेजी से बढ़ रहे मामलों के बीच अब यूपी में भी जानलेवा ब्लैक फंगस यानि म्यूकरमाइकोसिस के केस सामने आने लगे है. लखनऊ के प्रतिष्ठित किंग जॉर्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी (KGMU) के डॉक्टरों ने जानकारी देते हुए बताया कि अब तक बीते तीन महीनों में कोरोना वायरस से संक्रमित सात मरीजों में ब्लैक फंगस की पुष्टि हुई है. इनमें से चार संक्रमित मरीजों का इलाज अब भी मेडिकल यूनिवर्सिटी के आईसीयू वार्ड में चल रहा है.
टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट में डॉक्टरों के मुताबिक बताया गया है कि यह रोग साइनस, ब्रेन और फेफड़े को ज्यादा प्रभावित करता है. खासकर उन मरीजों को जिन्हें पहले से मधुमेह, कैंसर, एचआईवी, एड्स जैसी बीमारी हुई हो. उन्होंने कहा कि उन मरीजों में भी ऐसी समस्या ज्यादा देखने को मिल रही है, जिन्हें लंबे समय तक एस्टेरॉय दिया गया है.
बताया गया है कि केजीएमयू में 35 और 60 वर्ष के दो मरीज जिन्हें मधुमेह बीमारी है और 70 और 45 वर्ष के दो मरीज ऐसे है, जिन्हें लंबे समय तक एस्टेरॉय दी गयी है. ये सभी मरीज लखनऊ के रहने वाले है और इनकी कोरोना जांच रिपोर्ट पॉजिटिव आने के बाद दूसरे अस्पतालों में इलाज चल रहा था. बाद में इन सभी को आंख में स्वेलिंग की शिकायत मिलने के बाद दूसरे अस्पतालों से यहां रेफर किया गया है.
इनफेक्शियस डिजीज यूनिट के इंचार्ज और मेडिकल सुपरिटेंडेंट डॉ़ डी हिमांशु ने उक्त जानकारी देते हुए बताया कि इससे पीड़ित मरीजों के आंख और नाक के आसपास रेडनेस, पेन, बुखार, कफ, सांस लेने में तकलीफ, खूनी उल्टी जैसी समस्याएं देखने को मिली है. गौर हो कि कोरोना संक्रमित मरीजों में ब्लैक फंगस के मामले दिखने को मिल रहे हैं, जो जानलेवा है. डॉक्टरों के मुताबिक इससे संक्रमित मरीजों की मौत हो रही है. बताया जा रहा है कि संक्रमण के साथ अगर मरीज में ब्लैक फंगस की शिकायत हुई तो उसकी जान पर खतरा बढ़ सकता है. यह फंगस त्वचा के साथ नाक, फेफड़ों और मस्तिष्क तक को नुकसान पहुंचा सकता है. यूपी में भी सामने आए जानलेवा ब्लैक फंगस के मामले तथा Breaking News in Hindi से अपडेट के लिए बने रहें।
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