Aligarh News: दीपावली पर एक ओर जहां अलीगढ़ के बाजार से चाइना की झालरें गायब हैं, वहीं दूसरी ओर मिट्टी के दीपकों को टक्कर दे रहे हैं गाय के गोबर से बने दीपक, लक्ष्मी-गणेश, स्वास्तिक, शुभ-लाभ. इनकी बनावट और रंग हर किसी को अपनी ओर खींच रहे हैं, लोग जमकर खरीद रहे हैं बाजार में आए गाय के गोबर से बने प्रोडक्ट्स को.
शेखा गांव के पर्यावरण प्रेमी संतोष सिंह ने गाय के गोबर से बना डाले इकोफ्रेंडली प्रोडक्ट्स…
अलीगढ़ से 15 किलोमीटर दूर पनैठी क्षेत्र के शेखा गांव निवासी संतोष सिंह पर्यावरण प्रेमी हैं. बॉटनी में एमएससी, एलएलबी की पढ़ाई के बाद संतोष सिंह का मन नौकरी में नहीं रमा और शेखा गांव में शुरू की श्री गुरु गौशाला. गौशाला में विभिन्न किस्म की देशी गाय से मिलने वाले गोबर और मूत्र से ईको-फ्रेंडली प्रोडक्ट्स बनाने शुरू कर दिए.
दीपावली पर बना डाले गोबर से बने दीपक, लक्ष्मी-गणेश, स्वास्तिक, शुभ-लाभ…
संतोष सिंह ने दीपावली के लिए देशी गाय के गोबर से रंगीन दीपक, पूजन के लिए लक्ष्मी-गणेश मूर्ति, घर- प्रतिष्ठान पर चिपकाने वाले स्वास्तिक और शुभ- लाभ स्टीकर बना डाले. इनके उपयोग करने के बाद इन्हें आप खेत में खाद के रूप में प्रयुक्त कर सकते हैं. सभी प्रोडक्ट्स प्रकृति के अनुकूल हैं, रसायन का कहीं भी उपयोग नहीं किया गया है. बाजार में लोग पवित्र गाय के गोबर से बने ये प्रोडक्ट्स जमकर खरीद रहे हैं.
गाय के गोबर से बनाए कई और प्रोडक्ट्स… संतोष सिंह ने देशी गाय के गोबर से पूजा के लिए धूपबत्ती बनाई, जिसे जला भी सकते हैं और उसकी राख को पानी में घोलकर पी भी सकते हैं, उससे ऑक्सीजन लेबल सही रहता है. गाय के गोबर से हवन सामग्री और खाद भी बना दी. गाय के मूत्र से फिनायल की तरह सफाई के लिए गोनायल बनाई है. गाय के गोबर से कार में अंदर लगने वाली गणेश प्रतिमा भी बनाई है.
रक्षाबंधन पर बनाते हैं गोवर से बनी राखियां… संतोष सिंह रक्षाबंधन पर देशी गाय के गोबर से बनी ईको-फ्रेंडली राखियां भी तैयार करते हैं, जिनकी मार्केट में खासी डिमांड रहती है.
महिलाओं को मिला रोजगार…
गाय के गोबर से प्रोडक्ट्स तैयार करने में संतोष सिंह, उनकी पत्नी प्रीती सिंह और बच्चा शोर्य प्रताप सिंह से शुरू किए काम से अब 10 महिला व पुरूषों को रोजगार भी मिला हुआ है.
रिपोर्ट चमन शर्मा, अलीगढ़