Lucknow: उत्तराखंड के सिलक्यारा सुरंग में फंसे यूपी के श्रमिक मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मुलाकात के बाद जब अपने घरों में पहुंचे तो गांवों में दिवाली का जश्न मनाया गया. अपनों के बीच आकर ये श्रमिक भी बेहद प्रसन्न नजर आए. लोगों के स्वागत से अभिभूत ये श्रमिक टनल में फंसे रहने के दौरान होने वाली समस्याओं को भी भूल गए. इन लोगों को घरों तक पहुंचाने की व्यवस्था प्रदेश सरकार ने की थी. इनमें श्रावस्ती के छह मजदूर जब अपने गांव पहुंचे तो लोगों ने पटाखे दगाकर खुशी का इजहार किया. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मिलने के बाद सभी अपने गांव मोतीपुर कलां पहुंच गए. गांव में जैसे ही श्रमिकों से भरी बस पहुंची तो लोगों ने उसे घेर लिया. हर कोई उनसे सबसे पहले मिलना चाहता था. परिजनों के आंसू थमने का नाम नहीं ले रहे थे. श्रमिकों की मां उनसे लिपटकर रोने लगीं तो बच्चों की खुशी का ठिकाना नहीं रहा. टनल में फंसे रहने के दौरान जो पिता अपने बेटों को सकुशल देखने के लिए बेचेन थे, वह भी बेहद भावुक दिखे. हीं अपने पति को आंखों के सामने सकुशल देखकर महिलाएं भगवान का शुक्रिया अदा करती नजर आईं. ऐसे भावुक पल हर परिवार के बीच देखने को मिले. वहीं श्रमिक भी परिजनों के बीच पहुंचकर बेहद प्रसन्न नजर आए. उनके भाइयों और दोस्तों ने गले मिलकर ऐसे स्वागत किया, कि जैसे की कई वर्षों बाद उनसे मुलाकात हुई हो.
उत्तर प्रदेश के ये सभी श्रमिक दीपावली के दिन ही टनल में फंस गए थे,. ऐसे में पूरे गांव के लोगों ने चिंता में दीपावली नहीं मनाई. इसके बाद अब जब मजदूर गांव पहुंचे तो घर रोशनी से जगमगा उठे. हर तरफ दीपावली का माहौल था. गांव में श्रमिकों के स्वागत रंगाेली और पटाखों के साथ किया गया. पूरे गांव में बिजली होने के बावजूद दीपक की रोशनी ज्यादा तीखी लग रही थी. गांव में कई स्थानों पर डीजे की धुन पर लोग नाचते नजर आए. वहीं भाईदूज का पर्व भी लोगों ने मनाया. टनल में भाईयों के फंसे होने के कारण गांव में इस पर्व को नहीं मनाया गया था. वहीं अब उनके लौटते ही दिवाली और भाईदूज एक साथ मनाया गया.
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इन श्रमिकों ने बताया कि टनल में फंसने के बाद लगा था कि अब घर नहीं पहुंच पाएंगे. लेकिन, सबके प्रयासों से ऐसा संभव हो सका. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कोई कसर नहीं छोड़ी. हमें लगातार खाना, पानी और ऑक्सीजन मिलता रहा. हमसे लगातार संवाद कायम किया गया. सीएम योगी आदित्यनाथ ने श्रमिकों वाले जनपदों से एक अफसर को भेज दिया, इससे न्हें बहुत मदद मिली. वहीं श्रमिकों की सुरक्षित और सुविधाजनक तरीके से घर वापसी को लेकर राज्य समन्वयक अरुण कुमार मिश्रा ने बताया कि उत्तर प्रदेश सरकार की ओर से हमें श्रमिकों को सकुशल उनके गांव तक लाने की जिम्मेदारी मिली थी. उसे हमने अब पूरा कर लिया है. इससे बेहद अच्छा महसूस हो रहा है. टनल हादसे के बाद आज श्रमिक पहली बार जब अपनों से मिले तो हर कोई भावुक हो गया. परिजन उन्हें सुरक्षित देखकर बेहद प्रसन्न नजर आए.
सुरंग में फंसे रहने के बाद लखीमपुर खीरी का रहने वाला मंजीत जब भैरमपुर गांव स्थित अपने घर पहुंचा तो आंसू थमने का नाम नहीं ले रहे थे. सरकारी गाड़ी से घर पहुंचते ही मंजीत ने मां के पैर छूकर आशीर्वाद लिया. मां ने भी हल्दी-चंदन का तिलक करने के बाद में मंजीत की आरती उतारी और फिर माला पहनाकर स्वागत किया. मंजीत की मां ने कहा कि डेढ़ साल पहले बड़े बेटे दीपू की मौत के बाद अब मंजीत ही उसका सहारा है. इस दौरान तमाम परिजन, रिश्तेदार व ग्रामीणों से मंजीत का घर गुलजार रहा. गांव और अन्य घर वालों के सहयोग से घर पर उत्सव का माहौल नजर आया.
मंजीत की मां और दोनों बहनों ने पूरे घर को सजाया, दीये जलाए और दिवाली मनाई. मंजीत की दोनों बहनों ने जहां घर को गोबर से लीपकर आंगन पर रंगोली सजाई, वहीं मंजीत के एक दोस्त ने घर के बाहर टेंट लगवाया और कुर्सी आदि की व्यवस्था की. मंजीत की मां चौधराइन ने बताया कि सुबह घर पर चावल सब्जी बनाए जाने का इंतजाम था. लेकिन, बाद में सभी के सहयोग से पूड़ी-सब्जी और दाल-चावल की व्यवस्था की गई. सभी लोगों का आशीर्वाद है.
इससे पहले इन श्रमिकों ने राजधानी लखनऊ में सीएम आवास जाकर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मुलाकात की. इस दौरान मुख्यमंत्री ने उनसे टनल में फंसे रहने के दौरान की परिस्थितियां जानी और उनके जज्बे की प्रशंसा की. सीएम योगी ने सभी श्रमिकों के सकशुल बाहर आने पर प्रसन्नता जाहिर की. मुख्यमंत्री से मुलाकात के दौरान श्रमिकों ने टनल में फंसे रहने के दौरान अपनी परिस्थितियों के बारे में बताया कि किस तरह वह रास्ता खुलने का इंतजार कर रहे थे और एक जुट होकर अपने लोगों का हौसला बढ़ा रहे थे. श्रमिकों ने उन्हें बाहर निकालने के लिए किए जा रहे प्रयासों को लेकर सभी का आभार जताया. उन्होंने उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारियों के लगातार उनकी चिंता करने, बाहर निकालने के लिए किए जा रहे नए नए प्रयास और हालचाल लेने पर प्रसन्नता जाहिर की. इस दौरान मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सभी श्रमिकों को शॉल ओढ़ाया और तोहफा प्रदान किया और उनके स्वस्थ रहने की कामना की.