11.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

डॉ रमन सिंह से सत्ता छीनने वाले छत्तीसगढ़ के सीएम भूपेश बघेल पांच बार जीत चुके हैं विधानसभा चुनाव

डॉ रमन सिंह से सत्ता छीनने वाले भूपेश बघेल कांग्रेस के पुराने नेता हैं. पाटन विधानसभा सीट से कई बार जीत दर्ज कर चुके हैं. छत्तीसगढ़ अलग राज्य बनने के बाद से वर्ष 2008 को छोड़कर हर बार उन्होंने पाटन विधानसभा सीट पर जीत दर्ज की है. अब तक पांच बार विधायक बन चुके हैं. छक्का लगाने की तैयारी में हैं.

डॉ रमन सिंह के नेतृत्व में 15 साल तक चली छत्तीसगढ़ की भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) की सरकार को सत्ता से बाहर का रास्ता दिखाने वाले दिग्गज कांग्रेस नेता भूपेश बघेल पाटन से लगातार विधानसभा का चुनाव जीत रहे हैं. वर्ष 2018 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस उनके नेतृत्व में चुनाव लड़ रही थी और तत्कालीन सत्ताधारी दल बीजेपी 15 सीटों पर सिमटकर रह गई थी. कांग्रेस ने भूपेश बघेल की अगुवाई में प्रचंड बहुमत हासिल किया. पार्टी ने विधानसभा की 68 सीटों पर जीत दर्ज की थी. भूपेश बघेल पाटन विधानसभा क्षेत्र से चुने जा रहे हैं. छत्तीसगढ़ राज्य के अस्तित्व में आने के बाद वर्ष 2003 में उन्होंने पाटन विधानसभा सीट पर जीत दर्ज की. वर्ष 2008 के चुनाव में बीजेपी के विजय बघेल ने उन्हें पराजित कर दिया था. वर्ष 2013 और वर्ष 2018 में उन्होंने लगातार कांग्रेस के लिए यह सीट जीती.

कई देशों की यात्रा कर चुके हैं भूपेश बघेल

रायपुर में 23 अगस्त 1961 को नंदकुमार बघेल के घर जन्मे भूपेश बघेल की शादी मुक्तेश्वरी बघेल के साथ 3 फरवरी 1982 को हुई. भूपेश-मुक्तेश्वरी की चार संतानें हैं. इनमें तीन पुत्रियां और एक पुत्र हैं. एमए की पढ़ाई करने वाले भूपेश बघेल का व्यवसाय कृषि है. साहित्य पढ़ने, योग और खेलकूद में उनकी रुचि है. 19 जुलाई से 30 अगस्त 2000 के बीच उन्होंने बिलासपुर में बृहद स्वाभिमान रैली निकाली थी. इसके बाद छत्तीसगढ़ मनवा कुर्मी समाज के लिए रायपुर, बिलासपुर, दुर्ग, सेलूद में बृहद सामूहिक विवाह का आयोजन किया. उन्होंने ऑस्ट्रेलिया, न्यूजीलैंड, थाईलैंड, सिंगापुर, नेपाल और अमेरिका की यात्रा की है.

तीन दशक से अधिक लंबा है भूपेश का राजनीतिक करियर

भूपेश बघेल पुराने कांग्रेसी हैं. तीन दशक से अधिक का लंबा राजनीतिक करियर है. वर्ष 1990 से 1994 तक जिला युवक कांग्रेस (दुर्ग ग्रामीण) के अध्यक्ष रहे. अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के सदस्य और छत्तीसगढ़ प्रदेश कांग्रेस के महामंत्री और कार्यक्रम समन्वयक रहे. अब तक पांच बार विधायक बन चुके हैं. पहली बार भूपेश बघेल 1993 में विधानसभा पहुंचे थे. इसके बाद वर्ष 1998, वर्ष 2003 में भी जीते. वर्ष 2008 में वह बीजेपी के विजय बघेल से हार गये, लेकिन वर्ष 2013 और वर्ष 2018 में फिर से विधानसभा पहुंचे.

Also Read: छत्तीसगढ़ की भूपेश बघेल सरकार पर पीएम मोदी का हमला- गोबर में भी जो भ्रष्टाचार करे, उसकी मानसिकता क्या होगी?

1998 में मप्र सरकार में बने थे राज्यमंत्री

वर्ष 1998 में मध्यप्रदेश में उन्हें राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) बनाया गया. उन्हें मुख्यमंत्री से संबद्ध जनशिकायत निवारण की जिम्मेदारी दी गयी थी. वर्ष 1999 में परिवहन मंत्री बनाये गये. वर्ष 2000 में जब छत्तीसगढ़ राज्य अस्तित्व में आया, तो उन्हें अजीत जोगी की सरकार में राजस्व, पुनर्वास, राहत कार्य, लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी मंत्री बनाया गया.

विधानसभा की कई समितियों में रहे भूपेश बघेल

वर्ष 2003 में बीजेपी ने विधानसभा का चुनाव जीतकर छत्तीसगढ़ में सरकार बनायी. वर्ष 2004 से 2009 तक भूपेश बघेल विधानसभा की कार्य मंत्रणा समिति के सदस्य रहे. वर्ष 2004 से 2006 के बीच आचरण समिति, वर्ष 2005-06 में सरकारी उपक्रमों संबंधी समिति, वर्ष 2005 से 2009 तक प्रश्न एवं संदर्भ समिति, वर्ष 2006-07 में लोक लेखा समिति के सदस्य रहे. वर्ष 2006 से 2008 के बीच पुस्तकालय समिति के सदस्य रहे. वर्ष 2008-09 में सदस्य सुविधा एवं सम्मान समिति, वर्ष 2014 से 2019 तक कार्य मंत्रणा समिति, वर्ष 2014-15 में लोक लेखा समिति, वर्ष 2015-16 में सरकारी उपक्रमों संबंधी समिति, वर्ष 2016-17 में लोक लेखा समिति के सदस्य रहे.

2018 में बने छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री

वर्ष 2017 से 2019 तक भूपेश बघेल को विधानसभा की विशेषाधिकार समिति का सदस्य बनाया गया. इसके बाद वर्ष 2017-18 में वह नियम समिति, आचरण समिति के सदस्य रहे. वर्ष 2018 में कांग्रेस की सरकार बनी. भूपेश बघेल मुख्यमंत्री बने. उनके पास सामान्य प्रशासन, वित्त, ऊर्जा, खनिज संसाधन, जनसंपर्क, इलेक्ट्रॉनिक्स एवं सूचना प्रौद्योगिकी एवं अन्य वो तमाम विभाग थे जो किसी मंत्री को आवंटित नहीं किया गया था. वर्ष 2019 से 2021 तक भूपेश बघेल कार्य मंत्रणा समिति, आचरण समिति, सामान्य प्रयोजन समिति के भी सदस्य रहे.

Also Read: छत्तीसगढ़ के सीएम के राजनीतिक सलाहकार व ओएसडी के यहां ईडी के छापे, भूपेश बघेल बोले- थैंक्यू मोदीजी, अमित शाह

2018 में बघेल को मिले थे 51.85 फीसदी वोट

विधानसभा चुनाव 2018 में कांग्रेस के कद्दावर नेता भूपेश बघेल ने अपने निकटतम प्रतिद्वंद्वी भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के मोतीलाल साहू को बड़े अंतर से पराजित किया. भूपेश बघेल को 51.85 फीसदी वोट मिले, जबकि बीजेपी प्रत्याशी को 34.96 फीसदी वोट हासिल हुए. अजीत जोगी की पार्टी जेसीसी (जे) की शकुंतला साहू को 8.12 फीसदी वोट मिले थे. पाटन विधानसभा के 2.42 फीसदी वोटर्स ने नोटा का बटन दबाया था.

पाटन विधानसभा सीट पर 83.19 फीसदी हुई थी वोटिंग

अगर वोट की बात करें, तो पाटन विधानसभा सीट पर कुल 1,95,539 वोटर मतदान के लिए पंजीकृत थे. इनमें से 1,62,669 यानी 83.19 फीसदी लोगों ने अपने मताधिकार का इस्तेमाल किया. भूपेश बघेल को 84,352, मोतीलाल साहू को 56,875 और शकुंतला साहू को 13,201 वोट मिले.

Also Read: भूपेश बघेल के पास अलादीन का चिराग है, जो मांगोगे वो मिलेगा, छत्तीसगढ़ में बोले मल्लिकार्जुन खरगे

छत्तीसगढ़ विधानसभा में हैं 90 सीट

छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनाव की तैयारी लगभग पूरी हो चुकी है. कभी भी वोटिंग की तारीखों का ऐलान हो सकता है. प्रदेश में 90 विधानसभा सीटें हैं, जिनके लिए पांच साल में एक बार चुनाव कराए जाते हैं. एक सदस्य को राज्यपाल की ओर से मनोनीत किया जाता है. अभी विधानसभा में कांग्रेस के 71 और बीजेपी के 13 सदस्य हैं. बसपा और जेसीसी (जे) के भी उम्मीदवार 2018 के विधानसभा चुनाव में जीतकर सदन में पहुंचे थे.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें