Diwali 2022: दीपावली को लेकर घर की साफ-सफाई और रंग-रोगन में लोग जुटे हैं. किसी ने प्लास्टिक पेंट कराने का बजट तैयार किया है, तो कोई वॉल पेपर कराना चाहता है. हालांकि, इस बार पेंट कराने पर लोगों को करीब 15 फीसदी अधिक खर्च करने पड़ रहे हैं.
पिछले साल की तुलना में बढ़ा खर्च
पिछले साल तक एक हजार स्क्वायर फुट के मकान का पेंट कराने में करीब 30 से 32 हजार रुपये खर्च आते थे. अब यह बढ़कर करीब 35 से 37 हजार रुपये हो गया है. इसमें करीब 16 हजार रुपये लेबर खर्च तथा 19 हजार रुपये पेंट एवं पुट्टी पर खर्च आता है. बाजार में 140 से लेकर 600 रुपये लीटर पेंट है. 500 रुपये पेंटर व 350 रुपये लेबर की एक दिन की हाजिरी है. पहले पेंटर पर प्रतिदिन 400 रुपये और लेबर पर 300 रुपये खर्च आते थे.
पेंट बाजार में उछाल
बता दें कि 1990 की दशक तक चूना और डिस्टेंपर का खूब चलन था. 1997 में पेंट बाजार में जबरदस्त क्रांति आयी. घर को सजाने के लिए 720 प्रकार के कलरफुल शेड बनाने की मशीन बाजार में आयी. अब इस मशीन से 3000 से अधिक कलर शेड बनाये जा रहे हैं. कोरोनाकाल में दो साल बाजार फीका-फीका रहा. इस साल पेंट बाजार में जबरदस्त उछाल है.
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दीपावली में 60 करोड़ से अधिक के कारोबार का अनुमान
धनबाद में लगभग 125 पेंट की बड़ी दुकानें हैं. इसके अलावा दो सौ से अधिक छोटी दुकानें हैं. ब्रांडेड कंपनियों के डीलरों के मुताबिक, धनबाद में 150 करोड़ का कारोबार होता है. इसके अलावा लोकल कंपनी का भी अच्छा कारोबार है. कुल मिलाकर सालाना 200 करोड़ का कारोबार होता है. दीपावली में 60 करोड़ से अधिक का कारोबार होने का अनुमान है.