पूर्वी सिंहभूम: घाटशिला थाना क्षेत्र के नारायणपुर गांव के मजदूर दिनेश माडी की मौत गुजरात के दमन में हो गयी. वह 35 वर्ष का था. मौत की वजह बीमारी बतायी गयी है. जानकारी के अनुसार कंपनी में काम करने के दौरान अचानक उनकी तबीयत बिगड़ गयी और उसकी मौत हो गयी. परिजनों को घटना की जानकारी 9 अप्रैल को मिली. कंपनी स्वयं उनके शव को गांव भेजेगी.
इधर, जैसे ही इसकी सूचना विधायक प्रतिनिधि जगदीश भगत को मिली. वे तुरंत घर जाकर परिजनों को ढाढस बंधाया. उनके साथ देवली के समाजसेवी सोनाराम हेंब्रम भी थे. परिजनों ने बताया कि दिनेश माडी के साथ उनकी पत्नी रेशमी माडी भी उसी कंपनी में सुपरवाइजर का काम करती है. वह शव लेकर गांव लौटेगी. मृतक की 8 साल की एक बेटी है. जो फिलहाल अपने मामा के घर में रहती है.
गांव में मृतक के पिता रघु माडी और मां दानगी माडी रहते हैं. पुत्र की मौत से दोनों का रो- रोकर बुरा हाल है. दिनेश की मौत की सूचना मिलने के बाद ग्रामीण दिनभर परिवार को सांत्वना देने पहुंचते रहे. मृतक का साला विशाल माडी से जब बीतचीत की गयी तो पता चला कि दिनेश और उनकी पत्नी पिछले छह सात साल से गुजरात के दमन थाना क्षेत्र में एलाइड इंडस्ट्रीज नामक कंपनी में बल्ब बनाने का काम करते थे.
दिनेश सुबह किसी काम के सिलसिले में डेरा से निकला था. वापस गेरा लौटा तो उनकी तबीयत अचानक खराब हो गयी. इसके बाद उसकी मौत हो गयी. यह सूचना तुरंत कंपनी प्रबंधन को दी गई. कल उनके शव को कंपनी अपने खर्च से गांव भेजेगी. इस घटना के बाद से नारायणपुर गांव में मातम छाया हुआ है.
ग्रामीणों की मानें तो रोजगार के अभाव में लगातार घाटशिला अनुमंडल क्षेत्र से मजदूरों का पलायन विभिन्न प्रदेशों में हो रहा है. अधिकांश मजदूर बाहर के प्रदेशों में प्रताड़ित होते हैं. यहां मजदूरों की मौत का कोई पहला मामला नहीं है. इससे पहले भी विभिन्न वजहों से कामगारों की मौत होती रही है. लेकिन श्रम विभाग में रजिस्ट्रेशन नहीं होने के कारण उन्हें मुआवजा नहीं मिल पाता है.