बिहार में कोरोना संक्रमण के बीच विधानसभा चुनाव होने की संभावना है. राज्य एक तरफ कोरोना संक्रमण से लड़ रहा है तो दूसरी तरफ विधानसभा चुनाव की घमासान तेज है. बड़ी बात यह है कि चुनाव की तारीखों का ऐलान नहीं किया गया है. बावजूद चुनाव को लेकर सरगर्मी बढ़ रही है. बड़ा सवाल यह आखिर राज्य में कब चुनाव होंगे? बिहार में विधानसभा चुनाव के पहले ही राजनीतिक खींचतान भी देखने को मिल रही है. खास बात यह है कि बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी और उनकी पार्टी हिन्दुस्तान आवाम मोर्चा के फैसले ने दूसरी पार्टियों की टेंशन बढ़ा दी है तो दूसरी तरफ एनडीए खुश है. जीतन राम मांझी ने 3 सितंबर को एनडीए में शामिल होने की बात कह दी है. अरसे से जीतन राम मांझी के एनडीए में शामिल होने की अटकलें लग रही थी. अब, जीतनराम मांझी और उनकी पार्टी के फैसले के बाद स्थिति लगभग साफ हो चुकी है. बिहार के सीएम नीतीश कुमार से जीतनराम मांझी की मुलाकात के बाद से ही तय माना जा रहा था कि वो एनडीए का फिर से हिस्सा बनेंगे. हालांकि, एनडीए में उनके आगमन को लेकर संशय बरकरार था, जो अब खत्म होता दिख रहा है. माना यह जा रहा था कि एनडीए में शामिल होने के पहले जीतनराम मांझी सीट शेयरिंग को लेकर लगातार बातचीत कर रहे थे. अब, उनकी पार्टी ने कहा है कि सीट शेयरिंग कोई मुद्दा नहीं है. वो चुनाव में एनडीए के साथ जाएंगे.
बिहार चुनाव 2020: 3 सितंबर को एनडीए का हिस्सा बनेंगे जीतनराम मांझी
बिहार में कोरोना संक्रमण के बीच विधानसभा चुनाव होने की संभावना है. राज्य एक तरफ कोरोना संक्रमण से लड़ रहा है तो दूसरी तरफ विधानसभा चुनाव की घमासान तेज है. बड़ी बात यह है कि चुनाव की तारीखों का ऐलान नहीं किया गया है. बावजूद चुनाव को लेकर सरगर्मी बढ़ रही है. बड़ा सवाल यह आखिर राज्य में कब चुनाव होंगे? बिहार में विधानसभा चुनाव के पहले ही राजनीतिक खींचतान भी देखने को मिल रही है. खास बात यह है कि बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी और उनकी पार्टी हिन्दुस्तान आवाम मोर्चा के फैसले ने दूसरी पार्टियों की टेंशन बढ़ा दी है तो दूसरी तरफ एनडीए खुश है. जीतन राम मांझी ने 3 सितंबर को एनडीए में शामिल होने की बात कह दी है. अरसे से जीतन राम मांझी के एनडीए में शामिल होने की अटकलें लग रही थी. अब, जीतनराम मांझी और उनकी पार्टी के फैसले के बाद स्थिति लगभग साफ हो चुकी है. बिहार के सीएम नीतीश कुमार से जीतनराम मांझी की मुलाकात के बाद से ही तय माना जा रहा था कि वो एनडीए का फिर से हिस्सा बनेंगे. हालांकि, एनडीए में उनके आगमन को लेकर संशय बरकरार था, जो अब खत्म होता दिख रहा है. माना यह जा रहा था कि एनडीए में शामिल होने के पहले जीतनराम मांझी सीट शेयरिंग को लेकर लगातार बातचीत कर रहे थे. अब, उनकी पार्टी ने कहा है कि सीट शेयरिंग कोई मुद्दा नहीं है. वो चुनाव में एनडीए के साथ जाएंगे.
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