India China Clash: व्हाइट हाउस ने सोमवार को उस खबर की पुष्टि करने से इनकार कर दिया जिसमें दावा किया गया है कि अमेरिका ने पिछले साल भारतीय सेना को महत्वपूर्ण खुफिया जानकारी मुहैया कराई थी जिससे उसे चीनी घुसपैठ से सफलतापूर्वक निपटने में मदद मिली. व्हाइट हाउस में राजनीतिक संचार के लिए राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद के समन्वयक जॉन किर्बी ने खबर के बारे में पूछे जाने पर यहां एक दैनिक संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘‘नहीं, मैं इसकी पुष्टि नहीं कर सकता.’’
ड्रैगन की योजना हो गई नाकाम: यूएस न्यूज ऐंड वर्ल्ड रिपोर्ट ने दावा किया है कि चीन की पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (PLA) को पकड़ लिया गया, क्योंकि भारतीय सेना को अमेरिकी सेना के साथ अभूतपूर्व खुफिया-साझाकरण के कारण घुसपैठ की जानकारी मिल गई थी. गौरतलब है कि भारतीय और चीनी सैनिकों की अरुणाचल प्रदेश के तवांग सेक्टर में एलएसी के पास भिड़ंत हो गई थी. जिससे दोनों पक्षों के सैनिकों को चोटें आईं थी. भारतीय सैनिकों ने चीनी घुसपैठ का मुंहतोड़ जवाब दिया था.
यूएस न्यूज ने एक विशेष खबर में दावा किया था कि भारत, अमेरिकी सेना के अभूतपूर्व खुफिया सूचना साझा करने के कारण पिछले साल के अंत में हिमालय के ऊंचाई वाले सीमा क्षेत्र में चीन की सैन्य घुसपैठ का जवाब दे पाया. खबर के अनुसार, ‘‘अरुणाचल प्रदेश क्षेत्र में अमेरिकी खुफिया समीक्षा (जिसे जारी नहीं किया गया) की रिपोर्ट की जानकारी रखने वाले एक सूत्र ने बताया कि अमेरिकी सरकार ने पहली बार अपने भारतीय समकक्षों को चीन की स्थिति और सुरक्षा बल की ताकत के बारे में वास्तविक समय का विवरण प्रदान किया.
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रिपोर्ट के अनुसार, ‘‘सूचना में कार्रवाई योग्य उपग्रह की तस्वीरें शामिल थीं और इसमें अधिक विस्तृत जानकारी दी गई थी. अमेरिकी सेना ने इससे पहले कभी इतनी तेजी से ऐसी जानकारी भारतीय सेना के साथ साझा नहीं की थी.’’ खबर में एक सूत्र के हवाले से कहा गया, ‘‘ वे इंतजार कर रहे थे. ऐसा इसलिए हुआ क्योंकि अमेरिका ने भारत को इसकी तैयारी के लिए सब कुछ दिया था. यह दर्शाता है कि दोनों सेनाएं अब कितनी सफलता से सहयोग कर रही हैं और खुफिया जानकारी साझा कर रही हैं.