Amir Sarfaraz: पाकिस्तान की जेल में भारतीय कैदी सरबजीत सिंह की हत्या के आरोपी एवं आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा के करीबी सहयोगी आमिर सरफराज ताम्बा की रविवार को लाहौर में अज्ञात बंदूकधारियों ने गोली मारकर हत्या कर दी. सूत्रों ने बताया कि ताम्बा पर मोटरसाइकिल सवार हमलावरों ने पाकिस्तान में लाहौर के इस्लामपुरा इलाके में हमला किया और उसे नाजुक हालत में एक अस्पताल ले जाया गया, जहां उसकी मौत हो गई.
सरबजीत सिंह की पाकिस्तान जेल में हुई थी हत्या
कड़ी सुरक्षा वाली कोट लखपत जेल के अंदर, ताम्बा सहित अन्य कैदियों द्वारा किए गए बर्बर हमले के कुछ दिनों बाद सरबजीत सिंह की दो मई 2013 की सुबह लाहौर के जिन्ना अस्पताल में दिल का दौरा पड़ने से मृत्यु हो गई थी. हमले के बाद, करीब एक हफ्ते तक सिंह अचेत रहे थे. पाकिस्तानी कैदियों के एक समूह ने सरबजीत सिंह पर ईंट और लोहे की छड़ों से हमला किया था. ताम्बा का जन्म 1979 में लाहौर में हुआ था और वह लश्कर-ए-तैयबा के संस्थापक का करीबी सहयोगी है.
सरबजीत सिंह को पाकिस्तान कोर्ट ने सुनाई थी फांसी की सजा
सरबजीत सिंह को रॉ का एजेंट बताकर और लाहौर, मुल्तान व फैसलाबाद बम धमाकों का आरोपी भी ठहराया गया था. जिसके बाद पाकिस्तान कोर्ट ने उन्हें 1999 में फांसी की सजा सुनाई थी. हालांकि भारत के प्रयास से सरबजीत सिंह की फांसी टल गई थी. भारत में उनके परिवार वाले उनकी रिहाई की राह देख रहे थे, लेकिन अमीर सरफराज ने जेल में उनकी निर्मम हत्या कर दी.
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